लखनऊ जनमत। दिव्यांग पेंशन पांच हजार रुपये करने, लेखपाल, मुख्य सेविका अभ्यर्थी की नियुक्ति सहित अन्य मांगों को लेकर दिव्यांगों ने बुधवार को विधानभवन के सामने प्रदर्शन किया। पुलिस ने प्रदर्शनकारी दिव्यांगों को जबरन बस से ईको गार्डन रवाना कर दिया। दिव्यांगों ने आरोप लगाया कि उन्हें बैसाखी भी लेने नहीं दी गई। बाद में पुलिस प्रशासन ने दिव्यांगों के प्रतिनिधिमंडल से मुख्यमंत्री के ओएसडी एमके सिंह चौहान से वार्ता कराई। उन्होंने मांगें पूरी करवाने का आश्वासन दिया।
महागठबंधन के महासचिव वीरेंद्र कुमार ने सरकार पर दिव्यांगों की उपेक्षा का आरोप लगाते हुए कहा कि हम लेखपाल व मुख्य सेविका अभ्यर्थियों को नियुक्ति देने, सीजनल संग्रह अमीनों का विनियमितीकरण करने, नौकरी, रोजगार, स्वास्थ, शिक्षा, सुरक्षा की सौ फीसदी गारंटी, पेंशन पांच हजार रुपये करने, नौकरियों में आरक्षण कोटा पूरा करने सहित 27 सूत्री मांगों के लिए संघर्ष कर रहे हैं। उन्होंने आरोप लगाया कि प्रदर्शन के आह्वान के बाद पुलिस ने महागठबंधन के अध्यक्ष मनीष प्रसाद और उन्हें पुलिस ने नजरबंद भी रखा था। उन्होंने बताया कि मुख्यमंत्री के ओएसडी से वार्ता के दौरान महागठबंधन के अध्यक्ष मनीष प्रसाद की अगुवाई में जितेंद्र वर्मा, आनंद तिवारी, अजीत कुमार, अदनान खान, राम निहाल द्विवेदी आदि मौजूद रहे। वहीं बदायूं जनपद से दिव्यांग एकता संगठन के अध्यक्ष सदाकत खान के नेतृत्व में दर्जनों दिव्यांगजनों ने लखनऊ पहुंचकर आंदोलन में भाग लिया।